शायद पहली या दूसरी क्लास की बात है – मुझे Deer की स्पेलिंग और उसका अर्थ लिखने को कहा गया था। तब मैंने हरिण लिखा था (क्योंकि वागड़ी – जो मेरी मातृभाषा है – उसमें हरिण ही बोला जाता है) लेकिन मेरी टीचर या किसी सीनियर छात्र ने मुझे टोका था कि मैंने जो लिखा है, वह सही नहीं है। मुझे आज तक उलझन भरे वे पल याद हैं – हरिण ग़लत कैसे है? हम तो घर पर यही बोलते हैं। लेकिन मैं छोटा था। सवाल नहीं कर सकता था। मगर आज कर सकता हूँ – हरिण सही है या हिरन? जानने के लिए आगे पढ़ें।